General Competition | Geography | भारत की नदियाँ झील, जलप्रपात एवं बहुउद्देशीय परियोजना
- भारत की नदियाँ : भारत में सैकड़ों की संख्या में नदियाँ हैं, भारत की नदियाँ अपना जल बंगाल की खाड़ी या अरब सागर में गिराती हैं। भारत की नदियाँ अपनी कुल प्रवाहित जल का 77% बंगाल की खाड़ी में गिराती हैं तथा 23% अरब सागर में गिराती हैं।
- बंगाल की खाड़ी में जल गिराने वाली नदियाँ : गंगा, ब्रह्मपुत्र, स्वर्णरेखा, महानदी, गोदावरी, कृष्णा, कावेरी इत्यादि ।
- अरब सागर में जल गिराने वाली नदियाँ : साबरमती, नर्मदा, ताप्ती नदी इत्यादि ।
- उद्गम स्थल : नदियाँ जहाँ से निकलती हैं उसे उद्गम स्थल कहा जाता है। जैसे -गोदावरी का उद्गम स्थल महाराष्ट्र के नासिक का त्रयम्बक पहाड़ी है।
- संगम या मुहाना : नदियाँ जहाँ समुद्र या सागर में मिलती हैं उसे संगम या मुहाना कहते हैं। जैसे- गोदावरी का संगम या मुहाना बंगाल की खाड़ी है।
- अपवाह क्षेत्र या परवाह क्षेत्र : उद्गम स्थल से लेकर संगम या मुहाना तक के क्षेत्र को अपवाह क्षेत्र या परवाह क्षेत्र कहते हैं।
- माही नदी : भारत में बहने वाली यह नदी कर्क रेखा को दो बार काटती है।
- कांगो नदी या जायरे नदी : अफ्रीका महादेश में बहने वाली यह नदी विषुवत रेखा को दो बार काटती है।
- नील नदी : यह विश्व की सबसे लंबी नदी है। यह नदी अफ्रीका महादेश के सबसे बड़े झील विक्टोरिया झील से निकलती है। विक्टोरिया झील से होकर विषुवत रेखा गुजरती है। नील नदी विक्टोरिया झील से निकलने के बाद उत्तर की ओर बहती हुई कर्क रेखा को पार करते हुए अपना जल भूमध्य सागर में गिराती है। हम यह कह सकते हैं कि नील नदी का संबंध विषुवत रेखा और कर्क रेखा दोनों से है।
- लिम्पोपो नदी : अफ्रीका महादेश में बहने वाली यह नदी मकर रेखा को दो बार काटती है।
- बारमेजो नदी : दक्षिण अमेरिका महादेश में बहने वाली यह नदी मकर जिससे होकर कर्क रेर को तीन बार काटती है।
- Note : एकमात्र महादेश अफ्रीका महादेश है जिससे होकर कर्क रेखा, विषवुत रेखा और मकर रेखा तों गुजरती है।
- कर्क रेखा तीन महादेश से होकर गुजरती है- 1. उत्तरी अमेरिका महादेश, 2. अफ्रीका महादेश, 3. एशिया महादेश |
- विषुवत रेखा तीन महादेश से होकर गुजरती है- 1. दक्षिण अमेरिका महादेश, 2. अफ्रीका महादेश, 3. एशिया महादेश |
- मकर रेखा तीन महादेश से होकर गुजरती है- 1. दक्षिण अमेरिका महादेश, 2. अफ्रीका महादेश, 3. ऑस्ट्रेलिया महादेश |
- यूरोप महादेश और अंटार्कटिका महादेश ऐसा महादेश है जिसका संबंध कर्क, विषुवत और मकर रेखा किसी से भी नहीं है।
- मकर रेखा ऑस्ट्रेलिया को लगभग दो बराबर भाग में बाँटती है।
- नदियों का वर्गीकरण :
- पूर्ववर्त्ती नदी : वैसी नदी जो हिमालय के निर्माण के पूर्व से बहती है, पूर्ववर्ती नदी कहलाती है। जैसे—सिंधु, सतलज, ब्रह्मपुत्र नदी इत्यादि ।
- अनुगामी / अनुवर्त्ती नदी : वैसी नदियाँ जो ढ़ाल का अनुसरण करते हुए बहती है, अनुगामी नदी कहलाती है। जैसे- गोदावरी, कृष्णा, कावेरी इत्यादि ।
- प्रायद्वीपीय भारत की नदियाँ सामान्यतः पश्चिम से पूर्व की ओर बहती हैं क्योंकि प्रायद्वीपीय भारत का पश्चिमी भाग अधिक ऊँचा है जबकि पूर्वी भाग की ऊँचाई कम हैं।
- भारत की नदियों को मूल तौर पर दो भागों में बाँटकर पढ़ते हैं-
1. हिमालय की नदियाँ, 2. प्रायद्वीपीय भारत की नदियाँ ।
हिमालय की नदियाँ |
प्रायद्वीपीय भारत की नदियाँ |
(i) हिमालय की नदियाँ पूर्ववर्ती नदी का उदाहरण हैं। |
(i) प्रायद्वीपीय भारत की नदियाँ अनुवर्ती या अनुगामी नदी के उदाहरण हैं। |
(ii) यह नदियाँ बारहमासी/ सततवाहिनी / सदानीरा होती हैं क्योंकि इन नदियों को जल की प्राप्ति बर्फ और वर्षा दोनों से होता है। |
(ii) यह नदी मौसमी होती है क्योंकि इन नदियों को जल की प्राप्ति सिर्फ वर्षा से होती है। |
(iii) यह नदी अपनी युवावस्था में है। |
(iii) यह नदी अपनी प्रौढ़ावस्था में है। |
(iv) यह नदी अपरदन ( तोड़ना - फोड़ना) करती है । |
(iv) प्रायद्वीपीय भारत की कुछ नदियाँ डेल्टा का निर्माण करती हैं जैसे- महानदी, गोदावरी, कृष्णा, कावेरी, लेकिन प्रायद्वीपीय भारत की कुछ नदियाँ ऐसी हैं जो डेल्टा का निर्माण नहीं करती हैं जैसे- नर्मदा और ताप्ती । |
(v) हिमालय की नदियाँ डेल्टा का निर्माण करती हैं। |
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(vi) सामान्यतः हिमालय की नदियाँ अपने संगम या मुहाना पर डेल्टा का निर्माण करती है। |
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- Note :
- हिमालयीय क्षेत्र को तीसरे ध्रुव की संज्ञा दी जाती है।
- विश्व का सबसे बड़ा डेल्टा सुंदरवन का डेल्टा है जिसका निर्माण गंगा और ब्रह्मपुत्र नदी की धारा करती है ।
- नर्मदा और तात्पी एश्चुअरी का निर्माण करती है।
- प्रायद्वीपीय भारत की नदियों में कावेरी नदी बारहमासी/ सततवाहिनी/सदानीरा होती है ।
- गंगा नदी क्षेत्र : गंगा भारत की सबसे लंबी और बड़ी नदी है। हिन्दू धार्मिक ग्रंथों में इसे सबसे पवित्र नदी बताया गया है। पवित्रता के कारण उत्तर भारत के लोग इस नदी के जल का प्रयोग धार्मिक अनुष्ठान में करता है। इस नदी की लम्बाई 2525 km हैं (कुछ स्रोतों में गंगा की लम्बाई 2510km बतायी यी गयी है)- 2008 है) 2008 ई० में गंगा का भारत का राष्ट्रीय नदी घोषित किया गया है। 2017 ई॰ में उत्तराखण्ड उच्च न्यायालय (नैनीताल में) ने गंगा के साथ-साथ यमुना को भी जीवित मानव का दर्जा दिया है।
- बद्रीनाथ के संतोपथ हिमनद ( ग्लेशियर) से अलकनंदा निकलती है।
- केदारनाथ से मंदाकिनी नदी निकलती है।
- गंगोत्री से भागीरथी नदी निकलती है।
- धौलीगंगा, नंदाकिनी, पिंडार, मंदाकिनी, भागीरथी इत्यादि अलकनंदा की सहायक नदी है।
- विष्णुप्रयाग : यह धौलीगंगा नदी अलकनंदा से आकर मिलती है।
- नंदप्रयाग : यहाँ नंदाकिनी नदी अलकनंदा से आकर मिलती है।
- कर्णप्रयाग : यहाँ पिंडार नदी अलकनंदा से आकर मिलती है।
- रूद्रप्रयाग : यहाँ मंदाकिनी नदी अलकनंदा से आकर मिलती है।
- देवप्रयाग : यहाँ भागीरथी नदी अलकनंदा से आकर मिलती है।
- गंगा का उद्गम : उत्तराखण्ड के संतोपथ हिमानी से अलकनंदा नदी निकलती हैं तथा गोमुख (गंगोत्री) हिमानी से भागीरथी नदी निकलती है। आगे चलकर यह दोनों नदी उत्तराखण्ड के देवप्रयाग में आपस में मिल जाती हैं तत्पश्चात् ही अलकनंदा और भागीरथी की संयुक्त धारा को गंगा कहते हैं। गंगा शुरूआती दौर में उत्तराखण्ड के पर्वतीय भाग में बहती है। हरिद्वार के बाद गंगा पर्वतीय भाग से मैदानी भाग में प्रवेश करती है। उत्तराखण्ड के पश्चात् गंगा नदी बिजनौर जिला से उत्तर प्रदेश में प्रवेश करती है। गंगा नदी उत्तर प्रदेश के 28 जिलों से होकर बहती है। गंगा नदी के तट पर बसा हुआ सबसे बड़ा शहर कानपुर है। गंगा नदी बलिया जिला के बाद बिहार में प्रवेश करती है। बिहार में यह नदी बक्सर से प्रवेश करती है। बिहार के 12 जिला से होकर यह नदी गुजरती है जो निम्न हैं- 1. बक्सर, 2. भोजपुर ( आरा), 3. सारण, 4. पटना, 5. वैशाली, 6. समस्तीपुर, 7. बेगुसराय, 8 लखीसराय, 9. मुंगेर, 10. खगड़िया, 11. भागलपुर, 12. कटिहार।
- गंगा बिहार के लगभग बीचोंबीच से होकर गुजरती हैं तथा बिहार को लगभग दो बराबर भाग उत्तरी बिहार और दक्षिणी बिहार में बाँटती है। बिहार की राजधानी पटना गंगा नदी के तट पर बसा हुआ है जो दक्षिणी बिहार के अंतर्गत आता है। गंगा नदी कटिहार के बाद बिहार से बाहर निकलती है। यह नदी झारखंड के साथ सीमा बनाती हुई पश्चिम बंगाल में प्रवेश करती है। पश्चिम बंगाल में गंगा की धारा दो भागों में विभक्त हो जाती है। एक धारा पूर्व की ओर बहती है जिसे भागीरथी कहते हैं तथा दूसरी धारा दक्षिण की ओर बहती है जिसे हुगली कहते हैं। हुगली नदी के तट पर ही कोलकाता स्थित है। ब्रिटिश काल में जॉब चारनॉक ने सुतानती, कालीकाटा और गोविन्दपुर नामक तीन गाँव को मिलाकर कोलकाता शहर की स्थापना की। गंगा नदी को दो राज्य उत्तराखण्ड और पश्चिम बंगाल में भागीरथी के नाम से जाना जाता है। पश्चिम बंगाल के बाद यह नदी बांग्लादेश में प्रवेश करती है। बांग्लादेश में इसे पद्मा कहते हैं। आगे चलकर गंगा नदी बांग्लादेश में मेघना से मिल जाती है और मेघना के नाम से ही अपना जल बंगाल की खाड़ी में गिराती है।
- राष्ट्रीय जलमार्ग संख्या-1 (NW-1 ) : इसका निर्माण गंगा नदी पर 1986 ई. में करवाया गया है। इसकी लंबाई 1620 km है। इसका विस्तार उत्तर प्रदेश के प्रयागराज से पश्चिम बंगाल के हल्दिया तक देखने को मिलता है।
- गंगा की सहायक नदी: रामगंगा, गोमती, घाघरा, गंडक, कोसी, महानंदा इत्यादि नदी गंगा से बायाँ तट पर मिलती है, तो वही यमुना, सोन दायाँ तट पर मिलती है।
- यमुना : यह गंगा की सबसे बड़ी सहायक नदी है। इसका उद्गम स्थल उत्तराखंड के यमुनोत्री हिमानी है जबकि इसका संगम या मुहाना गंगा है। यह नदी गंगा में प्रयागराज में मिलती है। गंगा और यमुना के संगम पर ही प्रयागराज नामक शहर बसा हुआ है। प्रयागराज को पहले इलाहाबाद कहा जाता था। इलाहाबाद नामक शहर को मुगल बादशाह अकबर ने स्थापित किया था। यमुना की लंबाई 1326km है। यमुना को प्रदूषित होने के कारण खुला नाला की भी संज्ञा दी जाती है। यमुना नदी के तट पर दिल्ली, आगरा, मथुरा, ओरैया, इटावा इत्यादि शहर स्थित हैं।
- सोन : यह नदी मध्य प्रदेश के अमरकंटक पहाड़ी से निकलती है तथा उत्तर-पूर्व की ओर बहती हुई पटना के निकट दानापुर में गंगा में मिल जाती है। सोन नदी गंगा नदी में दक्षिणी भाग से मिलती है।
- रामगंगा नदी : यह नदी उत्तराखण्ड के गढ़वाल पहाड़ी से तथा चलकर यह नदी उत्तर प्रदेश में कन्नौज के समीप गंगा से मिल जाती है। रामगंगा नदी भारत के प्रथम राष्ट्रीय उद्यान जिम कार्बेट राष्ट्रीय उद्यान से गुजरती है। यह राष्ट्रीय उद्यान 1935 ई० में स्थापित हुआ है। इसे हेली नेशनल पार्क के नाम से जाना जाता था। वर्तमान में रामगंगा नेशनल पार्क है।
- गोमती नदी : यह नदी उत्तर प्रदेश के पीलीभीत जिला के फुल्हर झील से निकलती है तथा आगे चलकर यह लखनऊ से गुजरती हुई गाजीपुर के समीप गंगा से मिल जाती है। लखनऊ गोमती नदी के तट पर बसा हुआ है।
- घाघरा नदी : यह तिब्बत के पठार के मापचा चुंग हिमनद से निकलती है और आगे चलकर यह बिहार के छपरा में गंगा से मिल जाती है।
- गंडक नदी : यह नदी नेपाल हिमालय से निकलती है आगे चलकर यह नदी सोनपुर के निकट गंगा से मिल जाती है। गंडक नदी से ही त्रिवेणी नहर निकलता है । अर्थात् त्रिवेणी नहर को जल की प्राप्ति गंडक नदी से ही होती है।
- कोसी नदी : नेपाल के गोसाईंस्थान चोटी से यह नदी निकलती है। कोसी नदी की मुख्य धारा को अरूणा के नाम से जाना जाता है। कोसी नदी कटिहार के कुरसेला के समीप गंगा से मिल जाती है। विश्व में सबसे ज्यादा मार्ग परिवर्तन करने वाली नदी कोसी नदी है। कोसी नदी के जलस्तर में वृद्धि होने के कारण ही प्रत्येक वर्ष उत्तरी बिहार बाढ़ के चपेट में आता है। बाढ़ के कारण भारी जानमाल की क्षति होती है। इसलिए कोसी नदी को बिहार का शोक कहा जाता है।
- महानंदा नदी : यह नदी पश्चिम बंगाल के दार्जिलिंग पहाड़ी से निकलती है और आगे चलकर फरक्का के समीप गंगा में मिल जाती है।
- ब्रह्मपुत्र नदी : ब्रह्मपुत्र नदी तिब्बत के मानसरोवर झील के चेमयुंग दुंग हिमनद से निकलती है तथा पूर्व की ओर बहती हुई अरूणाचल प्रदेश के बाद यह असम में बहती हुई बांग्लादेश में प्रवेश करती है। बांग्लादेश में ही यह अपना जल मेघना के नाम से बंगाल की खाड़ी में गिराती है। इस नदी की लंबाई 2900 km है। भारत में इसकी लंबाई 916 km है। इस नदी को अलग-अलग दोनों में अलग-अलग नामों से जाना जाता है। जैसे-तिब्बत में इसे सांग्पो, अरूणाचल प्रदेश में दिहांग या दिबांग, असम में ब्रह्मपुत्र तथा बांग्लादेश में जमुना कहा जाता है।
- राष्ट्रीय जलमार्ग संख्या-2 : इसका विस्तार असम में ब्रह्मपुत्र नदी पर सदिया से धुबरी के बीच है। इसकी लंबाई 891 km है। इसका निर्माण 1988 ई० में किया गया है।
- सिंधु नदी तंत्र : यह नदी तिब्बत के मानसरोवर झील के सिंगी खंमान हिमनद से निकलती है तथा पश्चिम की ओर बहती हुई "आरत के एकमात्र केन्द्रशासित प्रदेश लद्दाख से होते हुए पाकिस्तान में प्रवेश करती है और आगे चलकर यह नदी अपना जल अरब सागर में गिराती है। इसकी लंबाई 2880 km है। सिंधु नदी को पाकिस्तान की जीवन रेखा कहा जाता है। सिंधु की कई सारी सहायक नदियाँ हैं जैसे-झेलम, चिनाब, रावी, व्यास, सतलज इत्यादि है। इन सहायक नदियों में व्यास एक ऐसी सहायक नदी हैं जो सिर्फ भारत में बहती है। व्यास के अलावे सिंधु की अन्य सहायक नदियाँ भारत और पाकिस्तान दोनों देशों में बहती है ।
- सिंधु नदी जल समझौता : सिंधु तथा उसकी सहायक नदियाँ झेलम, चिनाब, रावी, व्यास, सतलज इत्यादि के जल को लेकर 1960 ई० में भारत और पाकिस्तान के बीच विश्व बैंक की अध्यक्षता में समझौता हुआ यह समझौता कराची में हुआ था। इस समझौता में भारत के प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू तथा पाकिस्तान के राष्ट्रपति अयूब खाँ ने भाग लिया। इस समझौता के तहत सिंधु, झेलम और चिनाब पर पाकिस्तान का अधिकार बताया गया जबकि रावी, व्यास और सतलज पर भारत का अधिकार बताया गया। इस समझौता में यह भी निर्धारित किया गया कि सिंधु नदी के 20 जल का उपयोग भारत करेगा तो वही 80% जल का उपयोग पाकिस्तान करेगा।
- Note : 1. सिंधु नदी लद्दाख और जॉस्कर पर्वत श्रेणी के बीच से होकर गुजरती है।
2. झेलम, चिनाब, रावी, व्यास, सतलज इन पाँचों नदियों को पंचनद की संज्ञा दी जाती है।
- सिंधु की सहायक नदियाँ :
- झेलम नदी : यह जम्मू-कश्मीर के बेरिनाग के निकट स्थित शेषनाग झील से निकलती हैं तथा जम्मू-कश्मीर के बुलर झील से होकर बहती हुई पाकिस्तान में प्रवेश करती है। यह नदी पाकिस्तान में चिनाब से जाकर मिलती है। इस नदी पर पाकिस्तान में मंगलाडैम बाँध का निर्माण किया गया है। इसका प्राचीन नाम वितास्ता है । इस नदी पर ही जम्मू-कश्मीर की राजधानी नगर श्रीनगर स्थित है। श्रीनगर मौर्य शासक अशोक के द्वारा बसाया गया था।
- चिनाब नदी : यह हिमाचल प्रदेश के बारालाचा दर्रा से निकलती है और चलकर पाकिस्तान में सतलज से मिल जाती है। यह सिंधु की सबसे बड़ी सहायक नदी है।
- रावी नदी : यह हिमाचल प्रदेश के रोहतांग दर्रा से निकलती है तथा आगे पाकिस्तान में चिनाब नदी से मिल जाती है।
- सतलज नदी : यह नदी तिब्बत के पठार के मानसरोवर झील के राकसताल से निकलती है और पश्चिम की ओर बहती हुई शिपकीला दर्रा से भारत के हिमाचल प्रदेश राज्य में प्रवेश करती है। हिमाचल प्रदेश के बाद यह पंजाब में बहती हुई पाकिस्तान में प्रवेश करती है। पाकिस्तान में यह चिनाब से मिल जाती है।
- Note : झेलम, चिनाब, रावी, व्यास, सतलज की संयुक्त जलधारा मिठानकोट के समीप पाकिस्तान में सिंधु नदी से मिलती हैं।
- व्यास नदी : यह नदी रोहतांग दर्रा के समीप व्यासकुंड से निकलती है तथा आगे चलकर सतलज से मिल जाती हैं। यह सिंधु की एक ऐसी सहायक नदी है जो सिर्फ भारत में बहती है।
- चिनाब नदी को हिमाचल प्रदेश में चन्द्रा तथा भागा के नाम से जाना जाता है।
नदी |
उद्गम |
संगम |
झेलम |
शेषनाग |
चिनाब |
चिनाब |
बारालाचा |
सतलज |
रावी |
रोहतांग दर्रा |
चिनाब |
व्यास |
व्यासकुंड |
सतलज |
सतलज |
राकसताल |
चिनाब |
- प्रायद्वीपीय भारत की नदियाँ :
- दामोदर नदी : यह झारखंड के छोटानागपुर पठार से निकलती है आगे चलकर यह पश्चिम बंगाल में हुगली से मिल जाती है। यह हुगली की सबसे बड़ी सहायक नदी है। दामोदर नदी को पश्चिम बंगाल का शोक कहा जाता है। स्वतंत्र भारत की प्रथम नदी घाटी परियोजना दामोदर नदी घाटी परियोजना है। इसका निर्माण 1948 ई० में हुआ है । यह परियोजना अमेरिका के टेनेसी नदी घाटी परियोजना के आधार पर स्थापित हुआ है। इस परियोजना के अंतर्गत दामोदर नदी पर पंचेत बाँध, बराकर नदी पर मैथन, बाला पहाड़ी बाँध, कोनारी नदी पर कोनारी बाँध का निर्माण किया गया है।
- Note : भारत के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू ने नदी घाटी परियोजना ( बहुउद्देशीय परियोजना) को आधुनिक भारत के मंदिर की संज्ञा दी है।
- स्वर्णरेखा नदी : यह छोटानागपुर के पठार से निकलती है तथा पूरब की ओर बहती हुई अपना जल बंगाल की खाड़ी में गिराती है। इस नदी पर जमशेदपुर नामक शहर बसा हुआ है। इस नदी को छोटानागपुर की गंगा कहा जाता है ।
- महानदी : यह नदी छत्तीसगढ़ के सिंधावा पर्वत श्रेणी से निकलती है और ओडिशा राज्य में बहती हुई अपना जल बंगाल की खाड़ी में गिराती है। इसकी प्रमुख सहायक नदियाँ मांड, ईब, जोंक, तेल, शिवनाथ इत्यादि है। इस नदी पर ओडिशा राज्य में भारत का सबसे लंबा बाँध हीराकुंड बाँध का निर्माण किया गया है।
- महानदी डेल्टा का निर्माण करती है जिसे महानदी डेल्टा कहते हैं। यह डेल्टा ओडिशा राज्य में स्थित है।
- गोदावरी नदी : यह महाराष्ट्र के नासिक के त्रयम्बक पहाड़ी से निकलती है तथा पूरब की ओर बहती हुई महाराष्ट्र, तेलंगाना और आंध्र प्रदेश से गुजरती है तथा आंध्र प्रदेश के तट पर गोदावरी डेल्टा का निर्माण करते हुए अपना जल बंगाल की खाड़ी में गिराती है। इसकी लंबाई 1465 km है। यह दक्षिण भारत की सबसे लम्बी नदी है। इसलिए इसे दक्षिणी गंगा कहा जाता है। इसकी प्रमुख सहायक नदी पैनगंगा, वैनगंगा, वर्धा, मंजरा, इन्द्रावती, प्राणहिता इत्यादि है।
- कृष्णा नदी : यह महाराष्ट्र में स्थित महाबालेश्वर की पहाड़ी से निकलती है तथा पूरब की ओर बहती हुई महाराष्ट्र, कर्नाटक, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश होते हुए अपना जल बंगाल की खाड़ी में गिराती है। यह नदी बंगाल की खाड़ी में जल गिराने से पूर्व आंध्र प्रदेश के तट पर कृष्णा नदी डेल्टा का निर्माण करती है। इसकी प्रमुख सहायक नदी भीमा, तुंगभद्रा, घाटप्रभा, मालप्रभा इत्यादि है। इसकी लंबाई 1400 km है। यह दक्षिण भारत की दूसरी सबसे लम्बी नदी है।
- कोवरी नदी : यह कर्नाटक के ब्रह्मगिरि पहाड़ी से निकलती है तथा पूरब की ओर बहती हुई तमिलनाडु के तट पर अपना जल बंगाल की खाड़ी में गिराती है। यह नदी तमिलनाडु के तट पर कावेरी नदी डेल्टा का निर्माण करती है। इसकी लंबाई 800 km है। दक्षिण भारत के लोग इसे सबसे पवित्र नदी मानता है। जिस प्रकार उत्तर भारत में यज्ञ और धार्मिक अनुष्ठान में गंगा नदी के जल का प्रयोग किया जाता है उसी प्रकार दक्षिण भारत में यज्ञ और धार्मिक अनुष्ठान में कावेरी नदी के जल का प्रयोग करता है। पवित्रता के कारण कावेरी नदी को दक्षिण भारत की गंगा कहते हैं।
- Note : कावेरी नदी के जल को लेकर विवाद कर्नाटक और तमिलनाडु के बीच है।
- लूनी नदी : यह नदी राजस्थान के अरावली पर्वत श्रेणी से निकलती हैं तथा गुजरात में बहती हुई कच्छ के रन में लुप्त हो जाती है। यह नदी समुद्र तक नहीं पहुँच पाती हैं इसे रेगिस्तान की गंगा भी कहते हैं। इसकी प्रमुख सहायक नदी सरसुती, जुबई इत्यादि है। इसे लवण नदी भी कहा जाता है।
- साबरमती नदी : यह नदी राजस्थान के अरावली पहाड़ी से निकलती है तथा गुजरात से होकर बहती हुई अपना जल खंभात की खाड़ी में गिराती है। इस नदी के तट पर ही अहमदाबाद शहर है। अहमदाबाद में ही महात्मा गाँधी ने 1916 ई॰ में साबरमती आश्रम की स्थापना की, जिसे सत्याग्रह आश्रम भी कहा जाता है।
- नर्मदा नदी : यह नदी विन्ध्याचल और सतपुड़ा पर्वत श्रेणी के मध्य में स्थित अमरकंटक की पहाड़ी से निकलती है तथा इन दोनों पर्वत श्रेणियों के मध्य से होकर गुजरती हुई गुजरात राज्य के तट पर अपना जल खंभात की खाड़ी में गिराती है। इस नदी की लंबाई 1312 km है। यह नदी अपने उद्गम सील से पश्चिम की ओर बहती है। इसकी प्रमुख सहायक नदी ओरसंग, तवा, बंजर, शेर इतयादि है।
- Note : अमरकंटक की पहाड़ी से निकलने वाली नमंदा और सोन नदी की धारा ठीक एक-दूसरे के विपरीत हैं जहाँ एक तरफ नर्मदा नदी पश्चिम की ओर बहती है तो वह दूसरी तरफ सोन नदी उत्तर - पूर्व की ओर बहती है।
- ताप्ती नदी : यह नदी सतपुड़ा पर्वत श्रेणी के दक्षिणी भाग से होकर गुजरती है। यह नदी मध्य प्रदेश के बैतूल जिले के महादेव पहाड़ी से निकलती है तथा पश्चिम की ओर बहती हुई अपना जल गुजरात के तट पर खंभात की खाड़ी में गिराती है। इसकी लंबाई 730 km है। इसकी प्रमुख सहायक नदी अरुणावती, मूरना, गिरना इत्यादि है।
- माही नदी : यह मध्य प्रदेश के विन्ध्याचल पर्वत श्रेणी में स्थित मेहंद झील से निकलती है तथा कर्क रेखा को दो बार काटती हुई अपना जल खंभात की खाड़ी में गिराती है।
- पेरियार नदी : यह नदी अन्नामलाई की पहाड़ी से निकलती है तथा अपना जल अरब सागर में गिराती है। यह केरल की सबसे लंबी नदी है।
- मांडबा नदी -: यह नदी कर्नाटक के बेलगाँव से निकलती है तथा गोवा में बहती हुई अपना जल अरब सागर में गिराती है। गोवा- की राजधानी नगर पणजी मांडवी नदी के तट पर स्थित है।
- शरावती नदी : यह कर्नाटक के शिमोगा जिले से निकलती हैं तथा अपना जल अरब सागर में गिराती है। यह कर्नाटक की एक प्रमुख नदी हैं। इस नदी पर ही जोग या गरसोप्पा जलप्रपात है।
- बहुउद्देशीय परियोजना : नदियों के ऊपर बाँध बनाकर एक से अ अधिक 3 उद्देश्य जैसे- बाढ़ नियंत्रण, विद्युत उत्पादन, सिंचाई सुविधा उपलब्ध करवाया जाना इत्यादि उद्देश्यों की पूर्ति की जाती है जिसे बहुउद्देशीय परियोजना कहा जाता है। भारत के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू ने बहुउद्देशीय परियोजना को आधुनिक भारत के मंदिर की संज्ञा दी है।
- दामोदर नदी घाटी परियोजना : यह स्वतंत्र भारत की प्रथम नदी घाटी परियोजना है। इसका निर्माण 1948 ई० में अमेरिका के टेनेसी नदी घाटी परियोजना के आधार पर किया गया है। इस परियोजना के अंतर्गत दामोदर नदी पर पंचेत बाँध बराकर नदी पर मैथन और बाला पहाड़ी बाँध और तिलैया बाँध तथा कोनारी नदी पर कोनारी बाँध का निर्माण किया गया है।
- सलाल परियोजना : इस परियोजना का निर्माण जम्मू-कश्मीर में चिनाब नदी पर किया गया है।
- बगलिहार परियोजना : इस परियोजना का निर्माण जम्मू-कश्मीर में चिनाब नदी पर किया गया है।
- दुलहस्ती परियोजना : इस परियोजना का निर्माण जम्मू-कश्मीर में चिनाब नदी पर किया गया है।
- तुलबुल परियोजना और ऊरी परियोजना : इस परियोजना का निर्माण झेलम नदी पर किया गया है।
- थीन सागर परियोजना और रंजीत सागर परियोजना : इस परियोजना का निर्माण पंजाब में रावी नदी पर किया गया है।
- पोंग परियोजना और मंडी परियोजना : इस परियोजना कापल नि प्रदेश में व्यास नदी पर किया गया है।
- चमेरा बाँध परियोजना : यह परियोजना रावी नदी पर हिमाचल प्रदेश राज्य में स्थित है।
- नाथपा झाकरी परियोजना : यह परियोजना हिमाचल प्रदेश राज्य में सतलज नदी पर निर्मित हैं।
- भांखड़ा नांगल परियोजना : यह परियोजना सतलज नदी पर पंजाब में स्थित हैं। यह देश की सबसे बड़ी बहुउद्देशीय परियोजना है इसमें लाभांवित होने वाले राज्य पंजाब, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, दिल्ली और राजस्थान है।
- इंदिरा गाँधी नहर : यह देश की सबसे लम्बी नहर है ! इस नहर की लम्बाई 648 km है | यह नहर सतलज और व्यास के संगम पर स्थित हरिके बैराज से निकलती है तथा मुख्य तौर पर राजस्थान राज्य में बहती है। इस नहर से सर्वाधिक लाभांवित राज्य राजस्थान होता है जिस कारण इसे राजस्थान नहर भी कहा जाता है ! राजस्थान के मरूस्थलीय इलाका में इस नहर की उपस्थिति के कारण ही हरियाली देखने को मिलती है जिस कारण इस नहर को मरूगंगा भी कहा जाता है। इस नहर की नींव 1958 ई० में भारत के गृहमंत्री गोविन्द वल्लभ पंत के द्वारा रखा गया था। उत्तर प्रदेश के प्रथम मुख्यमंत्री गोविन्द वल्लभ पंत थे।
- नर्मदा घाटी परियोजना : इस परियोजना के अंतर्गत मध्य प्रदेश राज्य में नर्मदा सागर बाँध का निर्माण किया गया है तो वही गुजरात राज्य में नर्मदा नदी पर सरदार सरोवर बाँध का निर्माण किया गया है। नर्मदा घाटी परियोजना से सर्वाधिक लाभ प्राप्त करने वाला राज्य गुजरात है तो वही सर्वाधिक दुष्प्रभावित राज्य मध्य प्रदेश है। इस परियोजना से लाभांवित होने वाले प्रमुख राज्य मध्य प्रदेश, गुजरात, महाराष्ट्र, राजस्थान है।
- Note : नर्मदा नदी दो बच्चों से होकर गुजरती है - 1. मध्य प्रदेश, 2. गुजरात ।
- उकाई परियोजना : यह गुजरात राज्य में ताप्ती नदी पर स्थित है।
- काकरपाड़ा परियोजना : यह गुजरात राज्य में ताप्ती नदी पर स्थित है।
- Note : ताप्ती नदी तीन राज्य से होकर गुजरती है - 1. मध्य प्रदेश, 2. महाराष्ट्र, 3. गुजरात।
- टिहरी बाँध परियोजना : यह परियोजना उत्तराखण्ड राज्य में भागीरथी और भीलंगना नदी के संगम पर स्थित है।
- हीराकुंड बाँध : यह भारत तथा विश्व का सबसे लंबा मानव निर्मित बाँध है। इसकी लंबाई 25.4 km है। यह बाँध ओडिशा राज्य में महानदी के तट पर स्थित है। इस बाँध से लाभांवित होने वाला राज्य मुख्यत: ओडिशा और छत्तीसगढ़ है। इसके अलावे झारखंड और मध्य प्रदेश है।
- रिहंद परियोजना : यह परियोजना उत्तर प्रदेश राज्य में रिहंद नदी पर स्थित है। इस परियोजना के ठीक पीछे रिहंद नदी पर एक मानव निर्मित झील बनाया गया है जिसे गोविन्द वल्लभ पंत सागर झील कहते हैं।
- Note : पंजाब में सतलज नदी पर भांखड़ा नांगल के ठीक पीछे गोविन्द सागर झील स्थित है। ये भी मानव निर्मित झील है।
- फरक्का बैराज : यह बाँध पश्चिम बंगाल राज्य में गंगा नदी के तट पर स्थित है। इससे लाभांवित होने वाले राज्य पश्चिम बंगाल और झारखण्ड है।
- रेणुका बाँध परियोजना : यह हिमाचल प्रदेश राज्य में गिरी नदी के तट पर स्थित है।
- कोलडैम बाँध परियोजना : यह परियोजना हिमाचल प्रदेश राज्य में सतलज नदी के तट पर स्थित है।
- काल्पोंग परियोजना : यह काल्पोंग नदी पर अंडमान निकोबार द्वीप समूह में स्थित है।
- कोसी परियोजना : यह कोसी नदी पर स्थित है। इस परियोजना से लाभांवित होने वाले क्षेत्र नेपाल और बिहार है। मूलत: कोसी नदी पर बाँध का निर्माण बाढ़ को नियंत्रित करने के लिए किया गया है।
- गंडक परियोजना : यह गंडक नदी पर स्थित है। यह बिहार और उत्तर प्रदेश की संयुक्त परियोजना है।
- कोयना परियोजना : यह परियोजना कोयना नदी पर महाराष्ट्र राज्य में स्थित है।
- Note : महाराष्ट्र के महाबलेश्वर पहाड़ी से मूलत: पाँच नदियाँ निकलती है और महाराष्ट्र राज्य में बहती हैं जो निम्न हैं- 1. कृष्णा, 2. कोयना, 3. वेन्ना, 4. सावित्री, 5. गायत्री ।
- तुंगभद्रा परियोजना : यह परियोजना कर्नाटक राज्य में तुंगभद्रा नदी पर स्थित है।
- घाटप्रभा परियोजना : यह परियोजना कर्नाटक राज्य में घाटप्रभा नदी पर स्थित है।
- चंबल परियोजना : यह परियोजना चंबल नदी पर स्थित है। इससे लाभांवित वाला राज्य मध्य प्रदेश और राजस्थान है।
- Note : चंबल नदी पर मध्य प्रदेश राज्य में गाँधी सागर परियोजना स्थित है तो वही राजस्थान राज्य में चंबल नदी पर राणा प्रताप सागर परियोजना, जवाहर सागर परियोजना और कोटा बैराज परियोजना स्थित हैं।
- कृष्ण सागर बाँध कावेरी नदी पर स्थित है।
- मयूराक्षी परियोजना : यह मयूराक्षी नदी पर पश्चिम बंगाल में स्थित है। इससे लाभांवित होने वाले राज्य पश्चिम बंगाल और झारखंड है।
- माताटीला परियोजना : यह परियोजना बेतवा नदी पर स्थित है। इससे लाभांवित होने वाले राज्य मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश है।
- शिवसमुद्रम परियोजना : यह कावेरी नदी पर है। इससे लाभांवित होने वाला राज्य मुख्यतः तमिलनाडु है ।
- Note : श्री नागार्जुन सागर, श्री सेलम तथा तेलुगु गंगा परियोजना कृष्णा नदी पर स्थित है। इससे लाभांवित होने वाले राज्य मुख्यतः आंध्र प्रदेश और तेलंगाना है।
- मेट्टूर बाँध परियोजना : महाराष्ट्र राज्य में गोदावरी नदी के तट पर जायकावाड़ी और पोचम्पाद परियोजना स्थित है।
- इडुक्की परियोजना : यह केरल राज्य में पेरियार नदी पर स्थित है।
- मेटुर बाँध कावेरी नदी पर तमिलनाडु राज्य में स्थित है।
- ब्रह्मपुत्र नदी नामचाबारबा में U-टर्न लेती है और भारत में प्रविष्ट होती है।
- भारत की सबसे लंबी नदी गोदावरी है जिसका उद्गम तथा मुहाना दोनों भारतीय क्षेत्र में अवस्थित है।
- दामोदर नदी अपने भ्रंश घाटी प्रवाह के लिए प्रसिद्ध है।
- अमरावती कृष्णा की सहायक नदी नहीं है। (कावेरी का )
- लूनी नदी के ऊपरी मार्ग में मीठा पानी परंतु निचले भाग में खारे जल का प्रवाह मिलता है।
- काली नदी धांधर, साबरमती पश्चिम की ओर बहने वाली नदी है ।
- वैतरणी पश्चिम की ओर बहने वाली नदी है।
भारत के झील
- झील : चारों तरफ से स्थलीय भाग से घिरे हुए जल के शांत क्षेत्र को झील कहते हैं। झील कई प्रकार के होते हैं जो निम्न हैं-
- अनुप झील या लैगून झील : सामान्यतः लैगुन झील समुद्र तटीय भाग में पाया जाता है। मुख्य समुद्री जल से जल का कुछ भाग बालू, कंकड़, पत्थर की उपस्थिति के कारण जब अलग होता है तो उससे जिस झील का निर्माण होता है उसे अनुप या लैगून झील कहते हैं।
- कुछ महत्वपूर्ण लैगून झील :
- चिल्का झील : यह एक लैगून झील है, जो ओडिशा राज्य में समुद्र तट पर स्थित है। यह झील झींगा मछली उत्पादन के लिए प्रसिद्ध है। इस झील में कई सारे द्वीप हैं। जैसे- नालावान द्वीप।
- पुलिकट झील : यह एक लैगून झील है, जो आंध्र प्रदेश और तमिलनाडु राज्य के सीमा पर स्थित है। श्री हरिकोटा द्वीप इस झील को बंगाल की खाड़ी अलग करता है।
- वेम्बनाड झील : यह एक लैगून झील है। यह केरल में स्थित है। यह भारत की सबसे लम्बी झील है । इस झील में कई सारे द्वीप हैं। जैसे- वेलिंगटन द्वीप, बल्कारपदम द्वीप इत्यादि है। इस झील में नौकायन प्रतियोगिता का आयोजन होता है।
- अष्टमुडी झील : यह एक लैगून झील है। यह केरल राज्य में स्थित एक लैगून झील है।
- भारत की मीठे पानी की सबसे बड़ी झील बुलर झील है जो जम्मू-कश्मीर राज्य में स्थित है।
- भारत की खारे पानी की सबसे बड़ी झील सांभर है जो कि राजस्थान राज्य में स्थित है।
- भारत के सबसे अधिक ऊँचाई पर स्थित झील चोलामु है जो सिक्किम राज्य में स्थित है।
- भारत की सबसे बड़ी समुद्र तटीय झील चिल्का झील है जो खारे पानी की झील है।
- भारत की सबसे बड़ी मानव निर्मित झील गोविंद वल्लभ पंत सागर झील है उत्तर प्रदेश में रिहंद नदी के तट पर है।
झील |
राज्य |
नदी |
गोविन्द सागर झील |
हिमाचल प्रदेश और पंजाब के सीमा पर |
सतलज नदी |
गाँधी सागर झील |
मध्य प्रदेश |
चंबल नदी |
राणा प्रताप सागर झील और जवाहर सागर झील |
राजस्थान |
चंबल नदी |
नागार्जुन सागर झील |
आंध्र प्रदेश |
कृष्णा नदी |
स्टेनली झील |
तमिलनाडु |
कावेरी नदी |
पेरियार झील |
केरल |
पेरियार नदी |
राज्य |
झील |
असम |
दिपोर बिल झील, सोनबिल झील |
मेघालय |
उमियम झील |
मिजोरम |
पाला झील |
मणिपुर |
लोकटक झील |
लद्दाख |
पागौग सो तथा सोमोरिरि झील लद्दाख में स्थित है। |
जम्मू-कश्मीर |
डल झील, बुलर झील, नागिन झील, शेषनाग झील, बेरिनाग झील, मानसबब झील इत्यादि । |
उत्तराखण्ड |
भीमताल, नैनीताल, कुछियाताल, खुरपाताल, रूपकुण्ड झील इत्यादि । |
पंजाब |
कांजलि झील, रोपड़ तथा हरिकेय झील |
हरियाणा |
सूरजकुण्ड झील |
हिमाचल प्रदेश |
रेणुका झील, सूरजताल, चन्द्रताल |
राजस्थान |
सांभर, डीडवाना, राजसमद, जयसमंद, पुष्कर झील |
गुजरात |
नल सरोवर, नारायण सरोवर झील |
तेलंगाना |
हुसैन सागर, उस्मान सागर, दस्मान सागर झील |
महाराष्ट्र |
लोनार झील, सलीम अली सरोवर झील |
मध्य प्रदेश |
तवा झील, भोंज झील |
आंध्र प्रदेश |
कोलेरू झील |
तमिलनाडु |
उटी और कोडइकनाल झील |
अरूणाचल प्रदेश |
साला झील |
हरियाणा |
बड़खल झील |
तमिलनाडु |
कालीवेला झील |
- लोकटक : लोकटक मणिपुर में स्थित एक मीठे जल की झील है जो पूर्वोत्तर भारत के सबसे बड़ी झील है। विश्व का एकमात्र तैरता हुआ राष्ट्रीय उद्यान केबुल लामजाओ राष्ट्रीय उद्यान है जो मणिपुर के लोकटक झील में स्थित है।
- केबुल लामजाओ एकमात्र राष्ट्रीय उद्यान है जहाँ संगाई हिरण पायी जाती है। संगाई हिरण संकटग्रस्त प्राणी है जो लगभग विलुप्त होने के कगार पर है।
- रेड डाटा बुक : रेड डाटा बुक की संकल्पना सर पीटर स्कॉट ने किया था। पहली बार रेड डाटा बुक 1964 में प्रकाशित हुआ था। इस बुक में विलुप्तप्राय या संकटग्रस्त जानवरों को शामिल किया जाता है।
- गुजरात में सुदर्शन झील वस्तुतः एक - कृत्रिम जलाशय हैं, जो मौर्यों के शासन के दौरान बनाया गया था।
- 'सास्थामकोट्टा' झील केरल राज्य में स्थित है।
भारत के जलप्रपात
- पहाड़ी पठारी क्षेत्रों में ऊँचाई से तीव्र गति से नीचे गिरते हुए जल को जलप्रपात कहते हैं।
- विश्व की सबसे ऊँची जलप्रपात एंजिल है जो वेनेजुएला में कोरोनी नदी पर स्थित है। ( ऊँचाई 979 m)
- भारत की सबसे ऊँची जलप्रपात कर्नाटक राज्य में कुचीकल है जिसकी ऊँचाई 455m है। यह जलप्रपात बराही नदी पर है।
जलप्रपात |
नदी |
राज्य |
चुलिया |
चंबल |
राजस्थान |
दुग्धधारा, कपिलधारा, धुआँधार जलप्रपात |
नर्मदा |
मध्य प्रदेश |
चचाई जलप्रपात |
बिहर नदी |
मध्य प्रदेश |
दूध सागर जलप्रपात |
मांडवी |
गोवा |
जोग या गरसोप्पा जलप्रपात |
शरावती नदी |
कर्नाटक (255m ) |
गोकक जलप्रपात |
घाटप्रभा नदी |
कर्नाटक |
हुंडरू जलप्रपात |
स्वर्णरेखा नदी |
झारखंड |
डुडुमा जलप्रपात |
मुचकुंड नदी |
ओडिशा |
चित्रकोट जलप्रपात |
इन्द्रावती नदी |
छत्तीसगढ़ |
साडनी जलप्रपात |
शंख नदी |
झारखंड |
गौतमधारा जलप्रपात |
रारु नदी |
झारखंड |
दसम जलप्रपात |
काँची नदी |
झारखंड |
ककोलत जलप्रपात |
सराही नदी |
नवादा (बिहार) |
- भारत का सबसे बड़ा जलप्रपात हुंडरू है।
- भारत का नियाग्रा चित्रकोट जलप्रपात को कहा जाता है।
- नियाग्रा एक जलप्रपात है जो USA और कनाडा की सीमा पर सेंट लॉरेंस नदी पर स्थित है।
- जोग या गरसोप्पा जलप्रपात का नया नाम महात्मा गाँधी जलप्रपात है ।
नदी जल विवाद
- भारतीय संविधान के अनुच्छेद 262 अंतर्राज्यीय नदी जल विवाद से संबंधित प्रावधान की चर्चा करता है।
- कावेरी नदी जल विवाद इस नदी के जल को लेकर विवाद मुख्यतः कर्नाटक और तमिलनाडु राज्य के बीच है।
- नर्मदा नदी जल विवाद : इस नदी के जल को लेकर विवाद मुख्यतः मध्य प्रदेश और गुजरात के बीच है।
- कृष्णा नदी जल विवाद : इस नदी के जल को लेकर विवाद मुख्यतः कर्नाटक और आंध्र प्रदेश राज्य के बीच है।
- सोन नदी जल विवाद : इस नदी के जल को लेकर विवाद मुख्यतः बिहार, मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश के बीच है।
- कुचीकल जलप्रपात की ऊँचाई 1493 फीट है।
वस्तुनिष्ठ प्रश्न एवं उत्तर
1. अपवाह का क्या अर्थ है ?
(a) समुद्र के किनारे का बंदरगाह
(b) नदी-पत्तन
(c) नदी और अपवहन तंत्र
(d) नदीघाटी
2. इनमें कौन-सा कथन सही है ?
(a) ढाल के अनुरूप गमन करनेवाली नदी को अनुवर्ती नदी कहते हैं।
(b) भारत की कुछ नदियाँ ढाल के अनुरूप नहीं हैं।
(c) भारत की कुछ नदियाँ पहाड़ के आर-पार बहती हैं।
(d) उपर्युक्त सभी कथन सही हैं।
3. दो नदी - द्रोणियों को अलग करनेवाली उच्चभूमि को क्या कहते हैं?
(a) पहाड़
(b) पठार
(c) जलविभाजक
(d) चरागाह
4. इनमें कौन-सी नदी पूर्ववर्ती है ?
(a) महानदी
(b) हगली
(c) चंबल
(d) सिंधु
5. हिमालय में सबसे गहरी नदीघाटी (5,100 मीटर) कहाँ मिलती है ?
(a) शिमला के निकट
(b) गिलगिट के निकट
(c) गंगोत्री के निकट
(d) नामचा बारवा के निकट
6. गंगा की सबसे बड़ी सहायक नदी कौन है ?
(a) यमुना
(b) गंडक
(c) कोसी
(d) सरयू
7. इनमें कौन-सी नदी भ्रंशघाटी में बहती है ?
(a) गोदावरी
(b) नर्मदा
(c) कृष्णा
(d) कावेरी
8. इनमें कौन-सी नदी अपने मुहाने पर डेल्टा नहीं बनाती है?
(a) कावेरी
(b) कृष्णा
(c) गोदावरी
(d) नर्मदा
9. निम्नांकित में कौन-सी नदी अरब सागर में गिरती है ?
(a) गोदावरी
(b) कृष्णा
(c) नर्मदा
(d) कावेरी
10. लूनी किसकी सहायक नदी है ?
(a) गंगा की
(b) यमुना की
(c) चंबल की
(d) इनमें किसी की नहीं
11. इनमें कौन झील जम्मू और कश्मीर में है ?
(a) चिल्का
(b) कोलेरू
(c) पुलीकट
(d) डल
12. लोनार झील कहाँ अवस्थित है?
(a) राजस्थान में
(b) मध्य प्रदेश में
(c) महाराष्ट्र में
(d) कर्नाटक में
13. इनमें कौन-सी नदी प्रायद्वीपीय भारत की सबसे लंबी नदी है?
(a) महानदी
(b) कृष्णा
(c) तापी
(d) गोदावरी
14. इनमें कौन गंगा की सहायक नदी नहीं है?
(a) बेतवा
(b) सोन
(c) लोहित
(d) चंबल
15. निम्न कथनों पर विचार कीजिए तथा नीचे दिए गए कूट की सहायता से सही उत्तर का चयन कीजिए:
1. भारत में भाकड़ा ( Bhakra) सबसे ऊंचा बांध है।
2. भारत में चिल्का झील सबसे बड़ी खारे पानी (Brakish Water) की झील है।
3. भारत में लोकटक सबसे बड़ी मीठे पानी (Fresh Water ) की झील है।
कूट :
(a) 1 तथा 2 सही हैं।
(b) 1 तथा 3 सही हैं।
(c) 2 तथा 3 सही हैं।
(d) 1, 2 तथा 3 सही हैं।
16. निम्न में कौन-सी नदी सबसे लंबी है ?
(a) चिनाब
(b) झेलम
(c) रावी
(d) सतलूज
17. निम्न में से कौन-सा जल प्रपात तमिलनाडु में नहीं है ?
(a) अय्यानार (Ayyanar)
(b) कुर्तालम (Kurtalam)
(c) लोढ़ (Lodh)
(d) किलियर (Kiliyur)
18. निम्न में से कौन-सा जल प्रपात कर्नाटक में नहीं है?
(a) इरूपू (Erupu)
(b) गोकाक (Gokak )
(c) हुण्डरू (Hundru )
(d) जोग (Jog)
19. निम्न में से किस झील से नमक का अधिक उत्पादन होता है ?
(a) चिल्का (Chilka)
(b) कोल्लेरू (Kolleru)
(c) पुलीकट (Pulicat)
(d) साम्भर ( Sambhar)
20. निम्न में से कौन-सा जल प्रपात सबसे ऊंचा है?
(a) बर्काना (Barkana)
(b) कन्डाधार (Kandadhar)
(c) लोढ़ (Lodh)
(d) बुन्डला (Bundla)
21. निम्न कथनों पर विचार कीजिए तथा नीचे दिए गए कूट की सहायता से सही उत्तर का चयन कीजिए:
1. झीलें स्थिर जल का संचय होती हैं।
2. झीलें चारों ओर थल से अवरुद्ध होती हैं।
3. कैस्पियन सागर विश्व की सबसे बड़ी झील है।
4. चिल्का झील भारत की सबसे बड़ी झील है।
कूट:
(a) 1, 2 तथा 3 सही हैं ।
(b) 1, 2 तथा 4 सही हैं।
(c) 1, 3 तथा 4 सही हैं ।
(d) 1, 2, 3 तथा 4 सही हैं।
22. इनमें से कौन-सी नदी पूर्व से पश्चिम दिशा में बहती है ?
(a) दिबांग
(b) लोहित
(c) मानस
(d) सुबानसीरी
23. निम्नांकित कथनों पर विचार कीजिए:
1. रूपनारायण पश्चिम बंगाल की एक नदी है
2. रूपनारायण झारखंड की पहाड़ियों से निकलती है
3. रूपनारायण रारह मैदानी हिस्से से गुजरती है
उपरोक्त में से कौन-सा कथन सही है ?
(a) केवल 1
(b) 2 और 3
(c) 1 और 3
(d) 1, 2 और 3
24. निम्न नदियों को पश्चिम से पूर्व के क्रम में सजाएं और नीचे दिए कूट की सहायता से सही उत्तर का चयन कीजिए:
1. बागमती (Bagmati )
2. गंडक ( Gandak)
3. घाघरा (Ghagra
4. राप्ती ( Rapti ).
कूट:
(a) 3, 4, 2 और 1
(b) 3, 4, 1 और 2
(c) 1, 2, 4 और 3
(d) 1, 2, 3 और 4
25. निम्नांकित नदियों पर विचार कीजिए:
1. बनास
2. काली सिंध
3. पार्वती
4. सिंध (Sindh)
इन नदियों को पश्चिम से पूर्व के क्रम में सजाएं और नीचे दिए गए कूट की सहायता से सही उत्तर का चयन कीजिए:
(a) 1, 2, 3 और 4
(b) 1,3, 2 और 4
(c) 3, 1, 4 और 2
(d) 3, 4, 1 और 2
26. नर्मदा पश्चिम की ओर बहती है, जबकि अधिकतर प्रायद्वीपीय नदी पूर्व की ओर बहती है, ऐसा क्यों है?
1. यह विंध्य और सतपुड़ा के बीच बहती है
2. यह एक रिफ्ट घाटी ( Rift Valley) से बहती है
3. मध्य भारत के बाद धरातल का पश्चिम की ओर हो जाता है
नीचे दिए गए कूट की सहायता से सही उत्तर का चयन कीजिए:
(a) 2 और 3
(b) 1 और 2
(c) 1 और 3
(d) केवल 2
27. अलकनन्दा तथा भागीरथी नदियों का संगम निम्न में से किस स्थान पर है?
(a) देव प्रयाग
(b) कर्ण-प्रयाग
(c) रुद्र - प्रयाग
(d) विष्णु प्रयाग
28. निम्न में से कौन-सी नदी, गंगा की सबसे बड़ी सहायक नदी है ?
(a) गण्डक
(b) घाघरा
(c) कोसी
(d) यमुना
29. निम्न में से कौन-सी नदी रिफ्ट - वैली (Rift Valley) में नहीं बहती ?
(a) गोदावरी
(b) महानदी
(c) नर्मदा
(d) तापी
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