NCERT MCQs | प्राचीन इतिहास | मौर्यकाल

मौर्यकाल

NCERT MCQs | प्राचीन इतिहास | मौर्यकाल

NCERT MCQs | प्राचीन इतिहास | मौर्यकाल

मौर्य शासकों का विवरण

1. मौर्य वंश के संस्थापक चंद्रगुप्त मौर्य की विजयों का जिसके ग्रंथ में विस्तृत वर्णन है, वह है
(a) भास
(b) शूद्रक 
(c) विशाखदत्त
(d) अश्वघोष 
उत्तर - (c)
व्याख्या- मौर्य वंश के संस्थापक चंद्रगुप्त मौर्य की विजयों का विस्तृत वर्णन विशाखादत्त की पुस्तक मुद्राराक्षस में मिलता है। इस ग्रंथ में चंद्रगुप्त के शत्रुओं के विरुद्ध चाणक्य ने जो नीति अपनाई उसके बारे में भी चर्चा मिलती है। इसकी रचना नौवीं सदी में हुई थी। आधुनिक काल में इस विषय पर कई नाटक लिखे गए हैं ।
2. चंद्रगुप्त मौर्य के संबंध में निम्नलिखित में से कौन-सा कथन सत्य नहीं है?
(a) ब्राह्मण परंपरा के अनुसार वह शूद्र था।
(b) बौद्ध परंपरा के अनुसार वह क्षत्रिय था।
(c) प्लूटार्क के अनुसार उसने साठ हजार की सेना लेकर पूरे भारत को रौंद दिया।
(d) उसकी माता का नाम मुरा था, जो नंदों के रनवास में रहती थी।
उत्तर - (c)
व्याख्या- चंद्रगुप्त मौर्य के संबंध में कथन (c) सत्य नहीं है, क्योंकि जस्टिन नामक यूनानी लेखक के अनुसार चंद्रगुप्त मौर्य ने अपनी 600000 सैनिकों की फौज लेकर सारे भारत को रौंद दिया था। चंद्रगुप्त मौर्य का साम्राज्य उत्तर-पश्चिम में ईरान (फारस) से लेकर पूर्व में बंगाल तक, उत्तर में कश्मीर से लेकर दक्षिण में उत्तरी कर्नाटक (मैसूर) तक फैला हुआ था।
3. सेल्यूकस, जिसको अलेक्जेंडर द्वारा सिंध एवं अफगानिस्तान का प्रशासक नियुक्त किया गया था, को किस भारतीय शासक ने हराया?
(a) समुद्रगुप्त
(b) अशोक
(c) बिंदुसार
(d) चंद्रगुप्त मौर्य
उत्तर - (d)
व्याख्या- ग्रीक शासक अलेक्जेंडर ने सिंध एवं अफगानिस्तान का प्रशासक सेल्यूकस को नियुक्त किया था। चंद्रगुप्त मौर्य ने युद्ध में सेल्यूकस निकेटर को पराजित कर पश्चिमोत्तर भारत को जीत लिया था। यह क्षेत्र सिंधु नदी के पश्चिम में स्थित था। इस युद्ध के पश्चात् दोनों के बीच समझौता हो गया, जिसके अंतर्गत चंद्रगुप्त मौर्य से 500 हाथी लेकर उसके बदले सेल्यूकस ने उसे पूर्वी अफगानिस्तान, बलूचिस्तान और सिंध का पश्चिमी क्षेत्र दे दिया।
4. मौर्य साम्राज्य के संबंध में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए 
1. मौर्य साम्राज्य के विस्तार की जानकारी 'इंडिका' तथा 'अर्थशास्त्र' से मिलती है।
2. मेगास्थनीज ने पाटलिपुत्र के शासन का वर्णन किया है ।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?
(a) केवल 1 
(b) 1 और 2
(c) केवल 2
(d) न तो 1 और न ही 2
उत्तर - (b)
व्याख्या- दिए गए दोनों कथन सत्य हैं। मौर्य साम्राज्य के विस्तार की जानकारी हमें मेगास्थनीज की पुस्तक 'इंडिका' और कौटिल्य के 'अर्थशास्त्र' से मिलती है।
मेगास्थनीज ने पाटलिपुत्र के साथ-साथ मौर्य साम्राज्य के शासन का वर्णन किया है। मेगास्थनीज यूनान का राजदूत था, उसे सेल्यूकस ने चंद्रगुप्त मौर्य के दरबार में भेजा था।
5. मौर्य साम्राज्य की स्थापना के संदर्भ में निम्नलिखित कथनों में से कौन-सा सत्य नहीं है?
(a) मौर्यों से पूर्व मगध पर नंद वंश का शासन था।
(b) उत्तर भारत में मगध सबसे शक्तिशाली राज्य था।
(c) चंद्रगुप्त ने घनानंद को पराजित किया था।
(d) घनानंद नंद वंश का लोकप्रिय राजा था।
उत्तर - (d)
व्याख्या- मौर्य साम्राज्य की स्थापना के संदर्भ में कथन (d) सत्य नहीं है, क्योंकि घनानंद नंद वंश का लोकप्रिय नहीं, बल्कि अलोकप्रिय राजा था। चंद्रगुप्त ने अपनी सेना का संगठन किया और नंद राजा घनानंद को सिंहासन से उतार दिया, जिसका लोगों ने स्वागत किया। ईसा पूर्व चौथी सदी में मगध पर नंद राजाओं का शासन था। वह उत्तर भारत का सबसे शक्तिशाली राज्य था। नंद राजाओं ने करों की वसूली से अपार संपत्ति एकत्र कर ली थी और उनके पास एक विशाल सेना भी थी, परंतु वे कुशल शासक नहीं थे।
6. चंद्रगुप्त मौर्य के संबंध में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए
1. 305 ई. पू. में उसने घनानंद को पराजित किया था।
2. चंद्रगुप्त ने सेल्यूकस निकेटर से भारत का राज्य छीना था।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है / हैं?
(a) केवल 1 
(b) केवल 2
(c) 1 और 2
(d) न तो 1 और न ही 2
उत्तर - (d)
व्याख्या- चंद्रगुप्त मौर्य के संबंध में दिया गया कोई भी कथन सत्य नहीं है। चंद्रगुप्त मौर्य ने एक लंबे अभियान के पश्चात् 305 ई. पू. में यूनानी सेनापति सेल्यूकस निकेटर को पराजित किया था। इस युद्ध के पश्चात् चंद्रगुप्त मौर्य ने सिंधु नदी को पार कर उस प्रदेश को जीत लिया था, जो आज अफगानिस्तान का हिस्सा है।
7. मौर्य सम्राट बिंदुसार के शासन की सबसे महत्त्वपूर्ण विशेषता निम्नलिखित में से क्या थी? 
(a) विशाल स्थायी सेना
(b) यूनानी राजाओं के साथ निरंतर संबंध 
(c) भू-राजस्व व्यवस्था
(d) स्थानीय व्यापार 
उत्तर - (b)
व्याख्या- मौर्य सम्राट बिंदुसार के शासन की सबसे महत्त्वपूर्ण विशेषता पश्चिमी यूनानी राजाओं के साथ मैत्रीपूर्ण संबंध थे। दो विदेशी राजदूत डायमेकस तथा डायनोसियस उसके दरबार में आए थे। प्लिनी के अनुसार मिस्र के शासक टॉलमी द्वितीय फिलाडेल्फस ने डायनोसियस नामक एक राजदूत मौर्य दरबार में भेजा था।
8. बिंदुसार के संबंध में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए
1. बिंदुसार के शासनकाल में साम्राज्य दक्षिण में मैसूर तक फैल गया था।
2. बिंदुसार की दक्षिण के राज्यों के साथ मैत्री थी ।
3. केवल कलिंग प्रदेश (ओडिशा) और सुदूर दक्षिण के राज्य उसके साम्राज्य में नहीं थे।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है / हैं?
(a) केवल 1
(b) 1, 2 और 3
(c) 2 और 3
(d) केवल 2
उत्तर - (b) 
व्याख्या- बिंदुसार के संबंध में सभी कथन सत्य है। बिंदुसार के शासनकाल में मौर्य साम्राज्य दक्षिण में मैसूर तक फैल गया था, इस प्रकार उसके साम्राज्य में लगभग पूरा देश शामिल था। बिंदुसार की दक्षिण के राज्यों के साथ मैत्री थी, इसलिए उसने उन राज्यों पर कभी आक्रमण नहीं किया था।
बिंदुसार के काल में केवल कलिंग प्रदेश (ओडिशा) और सुदूर दक्षिण के राज्य ही उसके साम्राज्य में नहीं थे। कलिंग के लोग मौर्य के अधीन नहीं रहना चाहते थे, इसलिए अशोक को उन पर आक्रमण करना पड़ा।
9. निम्नलिखित में से किस अभिलेख में सम्राट अशोक का नाम 'अशोक' मिलता है? 
(a) प्रथम लघु शिलालेख 
(b) दीर्घ शिलालेख
(c) पृथक् शिलालेख
(d) लघु स्तंभ लेख
उत्तर - (a)
व्याख्या- प्रथम लघु शिलालेख में सम्राट अशोक का नाम 'अशोक' मिलता है, जो कर्नाटक के तीन स्थानों तथा मध्य प्रदेश के एक स्थान पर पाए गए हैं। अशोक पहला भारतीय राजा था, जिसने अपने अभिलेखों के सहारे सीधे अपनी प्रजा को संबोधित किया।
10. सम्राट अशोक के संबंध में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए 
1. बौद्ध परंपरा के अनुसार उसने 99 भाइयों की हत्या की थी।
2. अभिलेखों में उसका नाम 'देवानांप्रिय पियदस्सि' मिलता है।
3. अशोक के अभिलेख केवल शिलाओं पर उत्कीर्ण मिलते हैं।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?
(a) केवल 1 
(b) केवल 2
(c) 1 और 2
(d) 1, 2 और 3
उत्तर - (c)
व्याख्या- सम्राट अशोक के संबंध में कथन (1) और (2) सत्य हैं। बौद्ध परंपरा के अनुसार अशोक अपने आरंभिक जीवन में अति क्रूर था। अपने 99 भाइयों की हत्या करके वह राजगद्दी पर बैठा था।
प्रथम लघु अभिलेख को छोड़कर अन्य सभी अभिलेखों में अशोक को 'देवानांप्रिय पियदस्सि' (देवों का प्यारा) नाम से संबोधित किया गया है।
कथन (3) असत्य है, क्योंकि अशोक के अभिलेख केवल शिलाओं पर उत्कीर्ण नहीं हैं, बल्कि अशोक के अभिलेखों को पाँच श्रेणियों में बाँटा गया है - दीर्घ शिलालेख, लघु शिलालेख, पृथक् शिलालेख, दीर्घ स्तंभलेख और लघु स्तंभलेख।
11. अशोक के अभिलेखों के संदर्भ में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए 
1. उसने प्रजा को संबोधित करने के लिए अभिलेखों का सहारा लिया।
2. अशोक के अभिलेख केवल लिपि में लिखित हैं।
3. अशोक के अभिलेख अभी तक 45 स्थानों में कुल 182 पाठांतरों से पाए गए हैं।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?
(a) 1 और 2
(b) 1, 2 और 3
(c) 1 और 3
(d) केवल 2
उत्तर - (c)
व्याख्या- अशोक के अभिलेखों के संदर्भ में कथन (1) और (3) सत्य हैं । अशोक ने प्रजा को संबोधित करने के लिए अभिलेखों का सहारा लिया था। अशोक के अभिलेख शिलाओं पर पत्थर के पॉलिशदार शीर्षयुक्त स्तंभों पर, गुफाओं में और एक स्थान से प्राप्त मिट्टी के कटोरे पर भी उत्कीर्ण हैं। अशोक के अभिलेख अभी तक 45 स्थानों में कुल 182 पाठांतरों से पाए गए हैं। ये न केवल भारतीय उपमहाद्वीप में हैं, अपितु अफगानिस्तान में भी पाए गए हैं।
कथन (2) असत्य है, क्योंकि अशोक के अभिलेख ब्राह्मी, खरोष्ठी, अरमाइक और ग्रीक लिपि में लिखित हैं। अशोक के प्राकृत भाषा में रचे अभिलेख साम्राज्य के अधिकांश भागों में ब्राह्मी लिपि में लिखित हैं, किंतु पश्चिमोत्तर भाग में ये खरोष्ठी और अरमाइक लिपियों में लिखित हैं और अफगानिस्तान में इनकी भाषा और लिपि अरमाइक और यूनानी दोनों हैं।
12. सम्राट अशोक के कलिंग युद्ध के संदर्भ में निम्नलिखित में से कौन-सा कथन सत्य नहीं है? 
(a) अशोक ने अपने जीवन में केवल कलिंग युद्ध में भाग लिया था।
(b) कलिंग युद्ध के संबंध में अशोक के अभिलेख में शतसहस्र शब्द का प्रयोग किया गया है।
(c) कलिंग युद्ध अशोक के राज्याभिषेक के आठ वर्ष बाद हुआ था।
(d) इस युद्ध का वर्णन ग्यारहवें शिलालेख में मिलता है।
उत्तर - (d)
व्याख्या- सम्राट अशोक के कलिंग युद्ध के संदर्भ में कथन (d) सत्य नहीं है, क्योंकि सम्राट अशोक के कलिंग युद्ध का वर्णन 13वें शिलालेख में मिलता है। इस युद्ध में 1,00,000 लोग मारे गए, कई लाख लोग घायल हुए और 1,59,000 बंदी बनाए गए। इस युद्ध में हुए भारी नरसंहार से अशोक का हृदय दुःखी हुआ। इस युद्ध के कारण ब्राह्मण, पुरोहितों और बौद्ध भिक्षुओं को भी बहुत कष्ट झेलने पड़े, जिससे अशोक को गहरी व्यथा और पश्चाताप हुआ। इसलिए उसने दूसरे राज्यों पर भौतिक विजय पाने की नीति छोड़कर सांस्कृतिक विजय पाने की नीति अपनाई।
13. अशोक ने लोगों को शिक्षा देने के लिए किस अधिकारी की नियुक्ति की थी, जो जगह-जगह घूमकर शिक्षा देते थे?
(a) धम्माधिकारी
(b) धम्मसेवक 
(c) धम्म महामात्त
(d) धम्म अमात्य
उत्तर - (c)
व्याख्या- अशोक ने लोगों को शिक्षा देने के लिए धम्म महामात्त नाम के अधिकारियों की नियुक्ति की, जो जगह-जगह जाकर धम्म की शिक्षा देता था। इसकी नियुक्ति अशोक ने राज्याभिषेक के 14वें वर्ष में की थी। अपनी प्रजा के नैतिक उत्थान के लिए अशोक ने जिन आधारों की संहिता प्रस्तुत की, उसे उनके अभिलेखों में धम्म कहा गया है।
14. कलिंग युद्ध के पश्चात् अशोक द्वारा अपनाए गए 'धम्म' के संबंध में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए
1. उसका मानना था कि 'धम्म' के माध्यम से लोगों का दिल जीता जा सकता है।
2. वह चाहता था कि उसके बाद उसके उत्तराधिकारी भी युद्ध के स्थान पर धम्म का पालन करें।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?
(a) केवल 1 
(b) केवल 2
(c) 1 और 2
(d) न तो 1 और न ही 2
उत्तर - (c)
व्याख्या- कलिंग युद्ध के पश्चात् अशोक द्वारा अपनाए गए 'धम्म' के संबंध में दोनों कथन सत्य हैं।
कलिंग युद्ध के पश्चात् अशोक ने माना कि धम्म के माध्यम से लोगों का दिल जीतना बलपूर्वक विजय पाने से अधिक अच्छा है।
कलिंग युद्ध के पश्चात् अशोक चाहता था कि उसके बाद उसके उत्तराधिकारी भी युद्ध के स्थान पर धम्म नीति का पालन करें। इसके लिए उसने भविष्य के लिए अभिलेखों में धम्म नीति की चर्चा की।
15. निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए
1. अशोक ने अपने संदेश कई स्थानों पर शिलाओं और स्तंभों पर उत्कीर्ण करवाए।
2. अशोक ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि वे राजा के संदेशों को उन लोगों को पढ़कर सुनाएँ, जो स्वयं पढ़ नहीं सकते।
3. अशोक ने सीरिया, मिस्र, ग्रीस तथा श्रीलंका में भी दूत भेजे।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?
(a) 1 और 2
(b) 1, 2 और 3
(c) केवल 3
(d) केवल 2
उत्तर - (b)
व्याख्या- दिए गए सभी कथन सत्य हैं।
अशोक ने अपने धम्म के प्रचार-प्रसार के लिए अपने संदेश कई स्थानों पर शिलाओं और स्तंभों पर उत्कीर्ण करवाए।
अशोक ने अपने अधिकारियों को यह निर्देश दिया कि वे राजा के संदेश को उन लोगों को पढ़कर सुनाए, जो स्वयं पढ़ नहीं सकते हैं, इसके लिए धम्म महामात्र नामक नए अधिकारी की नियुक्ति की गई।
अशोक ने धम्म के विचारों को प्रसारित करने के लिए सीरिया, मिस्र, ग्रीस तथा श्रीलंका में भी दूत भेजे ।
16. अशोक द्वारा प्रयोग की गई कौन-सी लिपि से भारत में अनेक लिपियों का विकास हुआ था? 
(a) खरोष्ठी
(b) अरमाइक 
(c) ब्राह्मी
(d) रोमन
उत्तर - (c)
व्याख्या- अशोक द्वारा प्रयोग की गई ब्राह्मी लिपि से देवनागरी, बांग्ला, मलयालम तथा तमिल लिपियों का विकास हुआ था। अशोक की अधिकांश राजाज्ञाएँ ब्राह्मी लिपि में हैं। उस समय भारत के अनेक प्रदेशों में ब्राह्मी लिपि का प्रचलन था। अशोक के अभिलेखों की भाषा सामान्यतः प्राकृत है। यह आम जनता की भाषा थी, जबकि संस्कृत भाषा ऊँची जातियों के शिक्षित लोगों द्वारा बोली जाती थी।
17. अशोक से संबंधित निम्नलिखित कथनों में से कौन-सा कथन सत्य नहीं है?
(a) वह मनुष्यों और पशुओं की हत्या पर रोक लगाने के विरुद्ध था।
(b) वह धार्मिक सौहार्द का पक्षधर था।
(c) उसने युद्ध न करने का वचन दिया था।
(d) उसने धार्मिक अनुष्ठानों में पशुओं की बलि पर प्रतिबंध लगाया।
उत्तर - (a)
व्याख्या- अशोक के संदर्भ में कथन (a) सत्य नहीं है, क्योंकि अशोक मनुष्यों और पशुओं की हत्या पर रोक लगाना चाहता था, इसलिए उसने युद्ध न करने का वचन दिया था। उसने धार्मिक अनुष्ठानों में पशुओं की बलि देने पर प्रतिबंध लगाया, क्योंकि वह इसे क्रूर कार्य समझता था।
वह यह भी चाहता था कि लोग मांस न खाएँ। उस समय उसके अपने रसोईघर में प्रतिदिन दो मोर और एक हिरन राजा के लिए पकाए जाते थे, इस पर भी उसने रोक लगा दी थी।
18. निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए 
1. अशोक के उत्तराधिकारी दुर्बल थे, जिसके कारण साम्राज्य का पतन प्रारंभ हो गया।
2. अति केंद्रीयकृत प्रशासन के कारण मौर्य साम्राज्य का पतन हो गया।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?
(a) केवल 1
(b) केवल 2
(c) 1 और 2
(d) न तो 1 और न ही 2
उत्तर - (c)
व्याख्या- दिए गए दोनों कथन सत्य हैं।
अशोक के शासनकाल के पश्चात् मौर्य साम्राज्य का विघटन आरंभ हो गया, क्योंकि अशोक के उत्तराधिकारी दुर्बल थे और वे साम्राज्य का शासन अच्छी तरह संभाल न सके। अति केंद्रीयकृत प्रशासन के कारण मौर्य साम्राज्य के विभिन्न प्रांत अलग होने लगे और अंत में स्वतंत्र बन गए।
19. किस स्थान से प्राप्त अशोक के अभिलेखों की भाषा और लिपि अरमाइक एवं यूनानी दोनों हैं? 
(a) ईरान
(b) अफगानिस्तान 
(c) जेड्रोशिया
(d) इराक
उत्तर - (b)
व्याख्या- अफगानिस्तान के 'कंधार' से प्राप्त अशोक के अभिलेखों की भाषा और लिपि अरमाइक और यूनानी दोनों हैं। भारत पश्चिमोत्तर भाग में अभिलेख खरोष्ठी और अरमाइक लिपियों में हैं।
अभिलेखों में राजा की आज्ञाओं को उत्कीर्ण किया जाता था। अशोक के अभिलेख सामान्यतः प्राचीन राजमार्गों के किनारे स्थापित थे। अशोक के अभिलेख से अशोक के जीवनवृत्त, उसकी आंतरिक और राष्ट्रीय नीति तथा उसके राज्य के विस्तार की जानकारी मिलती है।

प्रशासन / अर्थव्यवस्था / समाज / कला

1. मौर्यकालीन अधिकारियों के संबंध में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए
1. 'धम्ममहामात्र' को पुरस्कार तथा दंड देने का अधिकार था।
2. समाज में धर्म का प्रचार करने के लिए 'राजूक' नामक अधिकारी की नियुक्ति की गई थी।
3. शीर्षस्थ अधिकारी को 'तीर्थ' कहा जाता था।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है / हैं?
(a) केवल 3
(b) 1 और 2
(c) 1, 2 और 3
(d) केवल 2
उत्तर - (a)
व्याख्या- मौर्यकालीन अधिकारियों के संबंध में कथन (3) सत्य है।
मौर्यकालीन अधिकारियों में शीर्षस्थ अधिकारियों को 'तीर्थ' कहा जाता है। इनकी संख्या 18 थी। अधिकतर स्थानों पर इन्हें 'महामात्य' भी कहा जाता था। सबसे महत्त्वपूर्ण तीर्थ या महामात्य 'मंत्री' और 'पुरोहित' थे । इनका साम्राज्य के अन्य अधिकारियों पर प्रत्यक्ष नियंत्रण होता था।
कथन (1) और (2) असत्य हैं, क्योंकि अशोक ने नारी सहित समाज के विभिन्न वर्गों के बीच धर्म का प्रचार करने के लिए राजूक को नहीं, बल्कि धम्म महामात्र नियुक्त किए। धम्म महामात्र को दंड देने का अधिकार नहीं था।
मौर्यकालीन समाज में न्याय कार्य करने के लिए राजूकों की भी नियुक्ति की गई। इन्हें कर संग्रह के अधिकार भी प्राप्त थे। इनके द्वारा शतसहस्र प्राणियों पर भी शासन करने का उल्लेख मिलता है ।
2. मौर्यकालीन प्रशासनिक व्यवस्था के संबंध में निम्नलिखित में से कौन-सा कथन सत्य नहीं है? 
(a) समाहर्ता राजकीय कोषागार का संरक्षक होता था।
(b) सन्निघात भंडारागार का संरक्षक होता था।
(c) प्रशासन के शीर्ष पर सम्राट होता था।
(d) केंद्रीय प्रशासन प्रांतों में विभाजित था।
उत्तर - (a)
व्याख्या- मौर्यकालीन प्रशासनिक व्यवस्था के संबंध में कथन (a) सत्य नहीं है, क्योंकि मौर्यकालीन प्रशासनिक व्यवस्था में समाहर्ता कर निर्धारण का सर्वोच्च अधिकारी होता था, जिसे वित्तमंत्री भी कहते थे। राज्य को समाहर्ता के चलते जो नुकसान होता था, उसे अधिक महत्त्व दिया जाता था। कर निर्धारण का ऐसा विशद संगठन पहली बार मौर्यकाल में ही देखा जाता है।
3. राजत्व के सिद्धांत के अंतर्गत कौटिल्य ने राजा को क्या कहकर संबोधित किया है ?
(a) धर्म संरक्षक
(b) धर्म उद्धारक
(c) धर्म प्रवर्तक
(d) धर्म सुधारक
उत्तर - (c)
व्याख्या- राजत्व के सिद्धांत के अंतर्गत कौटिल्य ने राजा को धर्म प्रवर्तक अर्थात् सामाजिक व्यवस्था का संचालक कहा है। कौटिल्य ने राजा को परामर्श दिया है कि जब वर्णाश्रम धर्म (वर्णों और आश्रमों पर आधारित समाज व्यवस्था) लुप्त होने लगे तो राजा को धर्म की स्थापना करनी चाहिए। अशोक ने अपने अभिलेखों में कहा कि राजा का आदेश अन्य आदेशों से ऊपर है। अशोक ने धर्म का प्रवर्तन किया और उसने मूलतत्त्वों को पूरे देश में समझाने और स्थापित करने के लिए अधिकारियों की नियुक्ति की।
4. मौर्यकाल में कृषकों के संबंध में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए 
1. कृषि योग्य जमीन का मापन राज्य द्वारा किया जाता था।
2. दासों को कृषि कार्य में नहीं लगाया जाता था।
3. इस समय पहली बार सुसंगठित कर प्रणाली का विकास हुआ था।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?
(a) 1 और 2
(b) 2 और 3
(c) 1 और 3
(d) केवल 1
उत्तर - (c)
व्याख्या- मौर्यकाल में कृषकों के संबंध में कथन (1) और (3) सत्य हैं।
मौर्यकाल में अधिकारी जमीन को मापता और उन नहरों का निरीक्षण करता था, जिसमें होकर पानी छोटी नहरों में पहुँचता था। इस काल में राज्य कृषकों की भलाई के लिए सिंचाई और जल वितरण की व्यवस्था करता था।
मौर्यकाल में पहली बार सुसंगठित कर प्रणाली का विकास हुआ था। कौटिल्य ने कृषकों, शिल्पियों और व्यापारियों से उगाहे जाने वाले करों का नामोल्लेख किया है। मौर्यों ने वसूली करने और ठीक से जमा रखने से अधिक महत्त्व कर निर्धारण को दिया था।
कथन (2) असत्य है, क्योंकि मौर्यकाल में ही दासों को कृषि कार्यों में बड़े पैमाने पर लगाया गया। राज्य के पास बड़े-बड़े कृषि क्षेत्र थे, जिनमें अनगिनत दास और मजदूर कृषि हेतु लगाए जाते थे।
5. मेगास्थनीज ने मौर्यकालीन समाज के संबंध में क्या नहीं कहा है?
(a) महिलाएं अंगरक्षक का कार्य भी करती थीं।
(b) समाज चार भागों में विभक्त था।
(c) समाज में दास व्यवस्था का अस्तित्व नहीं था।
(d) समाज में सती प्रथा का अस्तित्व नहीं था।
उत्तर - (b)
व्याख्या- मेगास्थनीज ने भारतीय समाज को चार भागों में नहीं, बल्कि सात जातियों ( दार्शनिक, किसान, चरवाहा, कारीगर व शिल्पी, सैनिक, निरीक्षक, सभासद) में विभक्त किया है। मेगास्थनीज चंद्रगुप्त के दरबार पश्चिम एशिया के यूनानी राजा सेल्यूकस निकेटर का राजदूत था।
6. मौर्यकालीन कला के संबंध में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए
1. अशोक की राजाज्ञाएँ चट्टानों और बलुआ पत्थर के ऊँचे स्तंभों पर उत्कीर्ण की गई थीं।
2. प्रत्येक स्तंभ के सिर पर हाथी, सांड या सिंह की प्रतिमा बनाई गई थी।
3. अशोक के अभिलेखों की भाषा प्राकृत थी।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?
(a) केवल 1
(b) केवल 2
(c) 1, 2 और 3
(d) 2 और 3
उत्तर - (c)
व्याख्या- मौर्यकालीन कला के संबंध में दिए गए तीनों कथन सत्य हैं।
अशोक की राजाज्ञाएँ चट्टानों और बलुआ पत्थर के ऊँचे स्तंभों पर उत्कीर्ण की गई थीं, जिन्हें अभिलेख कहा जाता था। अशोक के अभिलेखों को तीन भागों (शिलालेख, स्तंभलेख तथा गुहालेख) में बाँटा गया है।
अशोक के प्रत्येक स्तंभ के सिर पर हाथी, सिंह या सांड की प्रतिमा बनाई गई है। अशोक के अधिकांश अभिलेख प्राकृत भाषा में हैं, जबकि पश्चिमोत्तर से मिले अभिलेख अरमाइक और यूनानी भाषा में हैं। प्राकृत के अधिकांश अभिलेख ब्राह्मी लिपि में लिखे गए थे, जबकि पश्चिमोत्तर में कुछ अभिलेख खरोष्ठी लिपि में लिखे गए थे।
7. अशोक के अभिलेखों में वर्णित 'पतिवेदक' शब्द का अर्थ अभिलेखशास्त्रियों द्वारा क्या लगाया गया है?
(a) गुप्तचर
(b) धर्म प्रचारक
(c) संवाददाता
(d) कर संग्रहकर्ता
उत्तर - (c)
व्याख्या- अशोक के अभिलेखों में वर्णित 'पतिवेदक' शब्द का अर्थ अभिलेखशास्त्रियों द्वारा संवाददाता लगाया गया है। इसका कार्य सम्राट को विभिन्न सूचना देना था। आधुनिक संवाददाता की तुलना में पतिवेदक के दायित्व भिन्न थे।
8. मौर्यकालीन समाज के संबंध में कौन-सा कथन सत्य नहीं है?
(a) चारों वर्गों के लोग सेना में भर्ती होते थे।
(b) अपराध करने वाले ब्राह्मणों को यातना नहीं दी जाती थी।
(c) महिलाओं को नियोग की अनुमति नहीं थी ।
(d) मोक्ष की अवधारणा विकसित हो चुकी थी।
उत्तर - (c)
व्याख्या- मौर्यकालीन समाज के संबंध में कथन (c) सत्य नहीं है, क्योंकि मौर्यकालीन समाज में महिलाओं को पुनर्विवाह व नियोग की अनुमति थी। इस काल में स्त्रियों की स्थिति स्मृति काल की अपेक्षा अधिक सुरक्षित थी। कौटिल्य ने स्त्रियों के विवाह विच्छेद (तलाक) की अनुमति दी थी। इसके लिए उसने मोक्ष शब्द का प्रयोग किया था।
9. संभ्रांत घर की स्त्रियाँ प्रायः घर के अंदर रहती थीं। कौटिल्य ने ऐसी स्त्रियों को क्या कहकर संबोधित किया है?
(a) रूपाजीवा
(b) गणिकाध्यक्ष 
(c) अनिष्कासिनी
(d) अमाजू
उत्तर - (c)
व्याख्या- मौर्यकाल में सभ्रांत घर की स्त्रियाँ प्राय: घर के अंदर ही रहती थीं। कौटिल्य ने ऐसी स्त्रियों को अनिष्कासिनी कहकर संबोधित किया है। मौर्यकाल में स्वतंत्र रूप से वैश्यावृत्ति करने वाली स्त्रियों को रूपाजीवा तथा स्त्री कलाकारों को रंगोपजीवनी कहा जाता था।
10. निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए
1. स्ट्रेबो के अनुसार भारत में दास प्रथा नहीं थी।
2. दासों को कृषि कार्यों में नहीं लगाया जाता था।
3. दासों को संपत्ति रखने का अधिकार था।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?
(a) 1 और 2 
(b) 1, 2 और 3
(c) 1 और 3
(d) केवल 1
उत्तर - (c)
व्याख्या- दिए गए कथनों में से कथन (1) और (3) सत्य स्ट्रेबो एवं मेगास्थनीज के अनुसार भारत में दास प्रथा नहीं थी, परंतु इस बात में कोई संदेह नहीं है कि भारत में गृहदास वैदिक काल से पाए जाते थे।
मौर्यकाल में दासों की स्थिति संतोषजनक थी, उन्हें संपत्ति रखने व बेचने का अधिकार प्राप्त था।
कथन (2) असत्य है, क्योंकि मौर्य काल में दासों को कृषि कार्यों में बड़े पैमाने पर लगाया गया। राज्य के पास बड़े-बड़े कृषि क्षेत्र थे, जिसमें अनगिनत दास लगाए जाते थे।
11. निम्नलिखित में से कौन एक मौर्य साम्राज्य के पतन का कारण था ? 
(a) ब्राह्मणों की प्रतिक्रिया 
(b) वित्तीय संकट
(c) दमनकारी शासन
(d) उपरोक्त सभी
उत्तर - (d)
व्याख्या- दिए गए सभी विकल्प मौर्य साम्राज्य के पतन के कारण हैं। ब्राह्मणों की प्रतिक्रिया के द्वारा भी मौर्य साम्राज्य का पतन हुआ। मौर्य साम्राज्य के खंडहर पर खड़े हुए कुछ नए राज्यों के शासक ब्राह्मण हुए। मध्य प्रदेश में और उसके पूर्व मौर्य साम्राज्य के अवशेषों पर शासन करने वाले शुंग और कण्व ब्राह्मण थे।
सेना और प्रशासनिक अधिकारियों पर होने वाले भारी खर्च के बोझ से मौर्य साम्राज्य के सामने वित्तीय संकट खड़ा हो गया, जो मौर्य साम्राज्य के पतन का कारण बना।
प्रांतों में दमनकारी शासन ने भी मौर्य साम्राज्य के पतन को बढ़ाया। बिंदुसार तथा अशोक के काल में अत्याचारों के काफी प्रमाण मिलते हैं।
12. निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए
1. पुष्यमित्र शुंग ने 185 ई. में मौर्य साम्राज्य को नष्ट कर दिया।
2. पुष्यमित्र शुंग मौर्य राजा तुशास्प का सेनापति था।
3. अशोक ने पश्चिमोत्तर सीमावर्ती क्षेत्रों पर ध्यान नहीं दिया।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?
(a) 1 और 3
(b) 1 और 2
(c) केवल 2
(d) 1, 2 और 3
उत्तर - (a)
व्याख्या दिए गए कथनों में कथन (1) और (3) सत्य हैं।
पुष्यमित्र शुंग ने 185 ई. पू. में मौर्य साम्राज्य को अंतिम रूप से नष्ट कर दिया था। अशोक ने अपने शासनकाल के अंतिम वर्षों में देश-विदेश में मुख्यतः धर्म का प्रचार किया, जिसके कारण वह पश्चिमोत्तर सीमावर्ती क्षेत्रों पर ध्यान नहीं दे सका। कथन (2) असत्य है, क्योंकि पुष्यमित्र शुंग अंतिम मौर्य राजा वृहद्रथ का सेनापति था। पुष्यमित्र शुंग ने मौर्य शासक वृहद्रथ की हत्या कर दी और पाटलिपुत्र के सिंहासन पर कब्जा कर लिया तथा शुंग वंश की स्थापना की।
हमसे जुड़ें, हमें फॉलो करे ..
  • Telegram ग्रुप ज्वाइन करे – Click Here
  • Facebook पर फॉलो करे – Click Here
  • Facebook ग्रुप ज्वाइन करे – Click Here
  • Google News ज्वाइन करे – Click Here